कृदन्त - वि + हृ + सन् + णिच् - हृञ् हरणे - भ्वादिः - अनिट्


 
कृत प्रत्यय
कृदन्त
ल्युट्
विजिहीर्षणम्
अनीयर्
विजिहीर्षणीयः - विजिहीर्षणीया
ण्वुल्
विजिहीर्षकः - विजिहीर्षिका
तुमुँन्
विजिहीर्षयितुम्
तव्य
विजिहीर्षयितव्यः - विजिहीर्षयितव्या
तृच्
विजिहीर्षयिता - विजिहीर्षयित्री
ल्यप्
विजिहीर्ष्य
क्तवतुँ
विजिहीर्षितवान् - विजिहीर्षितवती
क्त
विजिहीर्षितः - विजिहीर्षिता
शतृँ
विजिहीर्षयन् - विजिहीर्षयन्ती
शानच्
विजिहीर्षयमाणः - विजिहीर्षयमाणा
यत्
विजिहीर्ष्यः - विजिहीर्ष्या
अच्
विजिहीर्षः - विजिहीर्षा
विजिहीर्षा


सनादि प्रत्यय

उपसर्ग



इतर